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मध्यप्रदेश में डायल 112 का अगाज़
भोपाल, 13 अगस्त 2025। मध्य प्रदेश पुलिस की आपातकालीन सेवाओं में बड़ा बदलाव कल से लागू होगा। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 14 अगस्त दोपहर 12:20 बजे कुशाभाऊ टेक इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर, भोपाल में मल्टी-एसेंजी रिस्पॉन्स सेवा डायल-112 का शुभारंभ होगा। इस कंपनी पर पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाना भी मौजूद हैं।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (रेडियो/दूरसंचार) संजीव शमी ने बताया कि डायल-100 की सफल विरासत को आगे बढ़ाया गया है, अब पुलिस, स्वास्थ्य, प्रशिक्षक, महिला एवं बाल सुरक्षा, साइबर क्राइम, प्राकृतिक आपदा जैसी कुल 9 सेवा एक ही नंबर 112 से उपलब्ध है।
नए सिस्टम में रीयल-टाइम स्टैटिस्टिक्स, डेटा एनालिटिक्स, चैटबॉट, मोबाइल ऐप, फ्लीट मशीनरी और बॉडी-वॉर्न कैमरा जैसी आधुनिक तकनीकें शामिल हैं। भोपाल स्थित कोटा कंट्रोल सेंटर से हर शिफ्ट में 100 एजेंट और 40 डिस्पैच लैंडिंग सेवाएं संचालित की गईं।
डायल-100 से डायल-112 तक का सफर
1 नवंबर 2015 को शुरू हुई डायल-100 सेवा देश की पहली केंद्रीकृत, राज्य सहयोग पुलिस प्रतिक्रिया प्रतिक्रिया व्यवस्था थी। दस वर्षों में फिल्मों में 8.99 करोड़ कॉल रिसीव की गई, जिसमें से 2.07 करोड़ की कार्रवाई हुई और लगभग 1.97 करोड़ मामलों में सहायता प्रदान की गई।
सेवा की उल्लेखनीय उपलब्धियाँ (2015–2025)
वरिष्ठ नागरिकों को सहायता - 2,23,288
महिला सुरक्षा अग्रिम प्रतिक्रिया - 19,71,396
नवजात शिशु का आरक्षण - 1,300
सड़क किनारे जीवनदायिनी सहायता - 12,48,621
लापता बच्चों की खोज - 27,112
आत्महत्या और अवसाद से जुड़ी कहानियाँ समय पर व्यवधान - 2,64,347
डायल-112 के साथ मध्य प्रदेश पुलिस का लक्ष्य
तेज़, प्रशिक्षित और तकनीक-समर्थ प्रतिक्रिया तंत्र के माध्यम से नागरिक सुरक्षा को और स्केल बनाना और ग्रामीण से शहरी यूरोप तक के क्षेत्र में बिना देरी किए।
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